पटना में अतिथि शिक्षकों पर पुलिस ने किया लाठीचार्ज, छह साल की सेवा एक ही झटके में समाप्त

सरकार ने कबिनेट की बैठक में नयी बहाली निकालने और लोगों को नौकरी देने की बात कही। वहीं दूसरी तरफ चार हजार से अधिक अतिथि शिक्षकों की सेवा एक झटके में सरकार ने समाप्सेत कर दी। इसी बात का विरोध करने के लिए अतिथि शिक्षक पटना पहुंचे लेकिन पटना की पुलिस ने उनपर लाठी चार्ज कर दिया। इस लाठी चार्ज में कई शिक्षक बुरी तरह से घायल हो गये जबकि कई चोटिल भी हुए। इस संबंध में शिक्षकों का कहना है कि पटना में सोमवार को सीएम हाउस के सामने अतिथि शिक्षकों पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया है। शिक्षक अपनी मांगों को लेकर मुख्यमंत्री आवास का घेराव करने पहुंचे थे। पुलिस ने पहले उन्हें रोका, लेकिन जब वो नहीं माने तो लाठीचार्ज कर उन्हें वहां से हटाया। इसमें कई शिक्षकों को चोट भी आई है।

बिहार के 4257 अतिथि शिक्षक पिछले 6 सालों से प्रदेश के उच्च माध्यमिक विद्यालय में पढ़ा रहे थे।  लेकिन शिक्षा विभाग ने एक झटके में उनकी सेवा को समाप्त कर दिया। उनका कहना है कि इसको लेकर शिक्षा विभाग के निदेशक कन्हैया प्रसाद की ओर से सभी जिला शिक्षा पदाधिकारी को एक पत्र जारी किया गया, जिसमें यह कहा गया कि अतिथि शिक्षकों की सेवा  31 मार्च से खत्म की जाती है।

गेस्ट टीचरों पटना पुलिस के द्वारा किये गये लाठी चार्ज कि घटना पर भी राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद की बेटी रोहिणी आचार्य ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर पोस्ट करते हुए सरकार को घेरने की कोशिश की है। रोहिणी ने लिखा है कि -‘अपनी मांगों के लिए शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे गेस्ट टीचरों पर डबल इंजन वाली सरकार के द्वारा लाठी चार्ज करवाना निंदनीय है… पुलिसिया लाठी की जोर से चलाए जा रहे शासन का हिसाब बिहार की जनता जल्द ही करेगी’।

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