देहरादून राजधानी में हुए चर्चित बाबा साहनी आत्महत्या कांड के आरोपियों गुप्ता बंधुओं को जिला एवं सत्र न्यायालय से भी झटका लगा है। कोर्ट से इनकी जमानत याचिका खारिज हो गई है। बचाव पक्ष के वरिष्ठ अधिवक्ता योगेश सेठी व विवेक गुप्ता के तर्कों से कोर्ट सहमत दिखा और अब गुप्ता बंधुओं के पास उपरी अदालत में अपील करने का रास्ता है।
बता दें कि, बीती 24 मई को बिल्डर सतेंद्र साहनी ने सहस्त्रधारा रोड पर पैसेफिक गोल्फ अपार्टमेंट में आठवीं मंजिल स्थित फ्लैट की बालकनी से कूदकर आत्महत्या कर ली थी. मामले थाना राजपुर पुलिस ने अनिल गुप्ता और अजय गुप्ता को अरेस्ट करने के बाद 25 मई को कोर्ट में पेश किया, जहां से दोनों आरोपियों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था. पुलिस ने जांच के बाद मामले में जबरन वसूली व धोखाधड़ी की दो धाराएं बढ़ाई गईं थी.
28 मई को गुप्ता बंधुओं (जीजा अनिल-साले अजय गुप्ता) की अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट तृतीय शाहिस्ता बानो की अदालत में करीब एक घंटे की बहस के बाद जमानत खारिज कर दी गई थी. उसके बाद आरोपियों की जमानत की तारीख 6 जून थी, लेकिन अभियोजन पक्ष ने केस डायरी न मिलने के चलते अदालत से सुनवाई के लिए एक दिन का समय मांगा, ऐसे में अदालत में आज 7 जून को सुनवाई हुई सुनवाई के दौरान अदालत में पक्ष रखा जिसमें कहा गया कि अनिल गुप्ता और अजय गुप्ता ने सतेंद्र साहनी को डराया धमकाया नहीं था, बल्कि बिजनेस के लेनदेन को लेकर बार-बार उनकी बातचीत हो रही रही थी वरिष्ठ अधिवक्ता योगेश सेठी ने बताया है कि पक्ष रखा गया कि सतेंद्र साहनी का बार-बार मानसिक उत्पीड़न किया गया और जान से मारने की धमकी भी दी गई. अदालत ने दोनों पक्षों की बहस के बाद अजय गुप्ता और अनिल गुप्ता की जमानत खारिज कर दिया. साथ ही अब विपक्ष अब दोनों आरोपियों की जमानत के लिए हाई कोर्ट में अपील करेंगे.